Tuesday, December 30, 2025

MP News: भारत के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर में 'गंदा' पानी पीने से 32 लोग बीमार, 80 वर्षीय बुजुर्ग की मौत

MP News: देश के सबसे स्वच्छ शहर मध्य प्रदेश के इंदौर से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। इंदौर में कथित तौर पर गंदा यानी दूषित पानी पीने के कारण 30 से ज्यादा लोग बीमार हो गए है। क्षेत्रीय पार्षद के मुताबिक बीमार लोगों में शामिल एक 80 वर्षीय व्यक्ति की अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई। हालांकि, प्रशासन ने अभी तक मौत की पुष्टि नहीं की है शिकायत के बाद प्रशासन ने पीने के पानी के सैंपल जांच के लिए इकट्ठा किए हैं। इस घटना के बाद प्रशासन पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (CMHO) डॉ. माधव प्रसाद हासानी ने मंगलवार (30 दिसंबर)  न्यूज एजेंसी पीटीआई को बताया कि शहर के भागीरथपुरा क्षेत्र के कम से कम 32 लोग अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती हैं। उन्होंने बताया, "मरीजों का कहना है कि दूषित पानी पीने के बाद उन्हें उल्टी-दस्त और शरीर में पानी की कमी की दिक्कतें शुरू हो गईं।" हासानी ने बताया कि भागीरथपुरा क्षेत्र से पानी के सैंपल लिए गए हैं जिनकी जांच रिपोर्ट 48 घंटे के भीतर आएगी।

सीएम ने अधिकारियों को दिए शख्स आदेश

इस बीच, सूबे के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने स्थानीय प्रशासन को निर्देश दिए हैं कि सभी मरीजों को तुरंत और गुणवत्तापूर्ण इलाज प्रदान किया जाए। भागीरथपुरा के लोगों का कहना है कि वे नगर निगम के नल कनेक्शन के जरिए घर-घर पहुंचने वाला नर्मदा नदी का दूषित पानी पीने से बीमार हुए।

क्षेत्रीय पार्षद कमल बाघेला ने कहा, "लोगों का कहना है कि पिछले गुरुवार (25 दिसंबर) को जिस पानी की आपूर्ति की गई थी। उससे अलग तरह की गंध आ रही थी। शायद लोग यही पानी पीने से बीमार पड़े हैं। सैंपल की जांच रिपोर्ट आने के बाद ही पता चल सकेगा कि पानी दूषित कैसे हुआ।"

बुजुर्ग की अस्पताल में मौत 

कथित तौर पर दूषित पानी पीने से लोगों की मौत के बारे में पूछे जाने पर पार्षद ने कहा, "हमें मिली अधिकृत जानकारी के मुताबिक एक निजी अस्पताल में भर्ती नंदलाल पाल (80) की मौत हो गई।" पाल के बेटे सिद्धार्थ ने बताया कि उनके पिता को कथित तौर पर दूषित पानी के कारण उल्टी-दस्त की समस्या के बाद 28 दिसंबर को इस अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उन्होंने बताया, "मेरे पिता की मंगलवार सुबह मौत हो गई।"

दो महिलाओं की भी मौत का दावा

स्थानीय लोगों ने पीटीआई से बातचीत में दावा किया कि दूषित पानी पीने से बीमार दो महिलाओं की भी मौत हो गई। हालांकि, प्रशासन ने दूषित पानी के कारण अब तक किसी भी मरीज की मौत की पुष्टि नहीं की है। भागीरथपुरा क्षेत्र के निवासी जितेंद्र प्रजापत ने कहा कि कथित तौर पर दूषित पानी के कारण उल्टी-दस्त से पीड़ित उनकी बड़ी बहन सीमा प्रजापत (50) ने सोमवार को दम तोड़ दिया।

पानी के कारण उल्टी-दस्त की समस्या

उन्होंने बताया, "मेरी बहन को अचानक उल्टी-दस्त की समस्या हुई। हमें उसे संभालने का मौका तक नहीं मिला। अस्पताल ले जाते वक्त रास्ते में उसकी मौत हो गई।" प्रजापत ने कहा कि भागीरथपुरा क्षेत्र में पिछले कुछ दिनों से जिस पानी की आपूर्ति की जा रही थी, वह पीते वक्त कड़वा लग रहा था। लोगों को आशंका है कि ज्यादा मात्रा में कोई रसायन मिलाए जाने से पानी का स्वाद बदल गया था।

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भागीरथपुरा क्षेत्र में रहने वाली चंद्रकला यादव ने कहा कि उनकी सास उर्मिला यादव (70) को 27 दिसंबर (शनिवार) को कथित तौर पर दूषित पानी के कारण उल्टी-दस्त की समस्या शुरू हुई। फिर एक अस्पताल में इलाज के दौरान 28 दिसंबर (रविवार) को उनकी मौत हो गई। इंदौर अपनी पानी की जरूरतों के लिए नर्मदा नदी पर निर्भर है। नगर निगम की बिछाई पाइपलाइन के जरिए नर्मदा नदी के पानी को पड़ोसी खरगोन जिले के जलूद से 80 किलोमीटर दूर इंदौर लाकर घर-घर पहुंचाया जाता है।



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