आईटी इंडस्ट्री में एट्रीशन (नौकरी छोड़कर जाने वालों की संख्या) की दर काफी हाई लेवल पर पहुंच गई है। जब एट्रीशन की रेट में गिरावट आनी शुरू होगी तभी हमें अधिकांश आईटी कंपनियों की मार्जिन में सुधार देखने को मिलेगा। अब तक आईटी कंपनियों के वैल्यूएशन में काफी करेक्शन हुआ है। आगे नैस्डैक में रिकवरी के साथ ही इस साल आईटी इंडेक्स हमें आउटपरफॉर्म करता नजर आएगा। ये बातें बसंत माहेश्वरी वेल्थ एडवाइजर्स के को-फाउंडर बसंत माहेश्वरी ने मनीकंट्रोल के साथ हुई बातचीत में कही हैं। बाजार पर बात करते हुए बसंत माहेश्वरी ने कहा कि भारतीय बाजार के लिए महंगाई पर यूएस फेड की कमेंट्री बड़े ट्रिगर का काम करेगी। बाजार की नजर इस बात पर लगी हुई हैं कि अमेरिका में ब्याज दरों की बढ़ोतरी का दौर कब थमेगा। बसंत माहेश्वरी का मानना है कि अगले कुछ महीनों में यूएस फेड मौद्रिक नीतियों में नरमी का रुख अपनाता नजर आ सकता है। सरकारी बैंक ट्रेडिंग के नजरिए से ज्यादा बेहतर स्टॉक मार्केट का 22 साल से ज्यादा का अनुभव रखने वाले महेश्वरी का मानना है कि सरकारी बैंक इस समय निवेश के नजरिए से तो नहीं लेकिन ट्रेडिंग के नजरिए से ज्यादा बेहतर नजर आ रहे हैं। आईटी शेयरों पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि अमेरिका की सभी परेशानियों के बावजूद भारतीय आईट कंपनियों ने काफी अच्छा प्रदर्शन किया है। क्लाउड माइग्रेशन, ऑटोमेशन और आर्टिफिशयल इंटेलीजेंस अगले कुछ दशकों में ट्रेंड में रहेंगे। बजट पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि स्टॉक मार्केट के नजरिए से देखें तो कभी-कभी कोई बुरी खबर न होना ही सबसे अच्छी खबर होती है। आमतौर पर यह माना जा रहा था कि कैपिटल गेन टैक्स के साथ कोई छेड़छाड़ की जा सकती है। लेकिन बजट में इसमें कोई बदलाव नहीं किया गया। यह काफी अच्छी बात है। उन्होंने ये भी कहा कि आज के समय में पहले के तुलना में बजट का उतना महत्व नहीं रह गया है। आगे सीमेंट की मांग में इजाफा हो सकता है सीमेंट सेक्टर पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि पिछले कुछ समय से ऊर्जा और लॉजिस्टिक्स की लागत में लगातार हो रही बढ़ोतरी इस सेक्टर के लिए सबसे बड़ी परेशानी थी। लेकिन अब इस लागत में कुछ गिरावट आई है। इसके अलावा डिमांड में कमी की वजह से सीमेंट कंपनियां बढ़ी लागत को उपभोक्ताओं पर पासऑन करने में सफल नहीं रही हैं। लेकिन सरकार द्वारा इंफ्रा पर बड़े खर्च के ऐलान से इस बात की उम्मीद है कि आगे सीमेंट की मांग में इजाफा हो सकता है। वित्त वर्ष 2023 में सीमेंट कंपनियों की ओर से अच्छे नतीजे आ सकते हैं। अडानी ग्रुप से मिले झटके के बावजूद, भारतीय बाजार की चमक बरकरार: इमर्जिंग एशिया इस साल हमें FII के फ्लो में स्थिरता नजर आएगी महंगाई पर बात करते हुए उन्होंने आगे कहा कि इस साल हमें इसमे नरमी आती नजर सकती है। घरेलू संस्थागत निवेशकों के बल पर इस साल भारतीय बाजार विदेशी संस्थागत निवेशकों की बिकवाली के दबाव से निपटने में कामयाब रहा है। इस साल हमें FII के फ्लो में स्थिरता नजर आएगी। जिससे साल 2023 में निफ्टी हमें पॉजिटिव रिटर्न देता नजर आ सकता है। डिस्क्लेमर: मनीकंट्रोल.कॉम पर दिए गए विचार एक्सपर्ट के अपने निजी विचार होते हैं। वेबसाइट या मैनेजमेंट इसके लिए उत्तरदाई नहीं है। यूजर्स को मनी कंट्रोल की सलाह है कि कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट की सलाह लें।
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