UTI AMC के हेड ऑफ इक्विटी और फंड मैनेजर अजय त्यागी ( Ajay Tyagi) ने देश की अर्थव्यवस्था और बाजार की संभावनाओं पर मनीकंट्रोल के साथ लंबी बातचीत की। इस बातचीत में उन्होंने कहा कि UTI AMC ऐसे सेक्टरों को लेकर बुलिश हैं जो घरेलू खपत पर आधारित हैं और जिनको देश की बढ़ती प्रति व्यक्ति आय से फायदा मिलने की उम्मीद है। उन्होंने इस बातचीत में आगे कहा कि UTI AMC कंज्यूमर स्टेपल्स, कंज्यूमर डिस्क्रीशनरी और कंज्यूमर ड्युरेबल्स शेयरों पर लंबे नजरिए से बुलिश है। कैपिटल मार्केट का दो दशकों से ज्यादा का अनुभव रखने वाले अजय त्यागी का मानना है कि बाजार अपने 1 ईयर फॉरवर्ड वैल्यूएशन के के लॉन्ग टर्म एवरेज से 10 से 15 फीसदी प्रीमियम पर कारोबार कर रहा है। यही वह कारण है कि जो बाजार में किसी गिरावट के लिए ट्रिगर का काम कर सकता है और बाजार एक बार फिर जून के निचले स्तर पर आ सकता है। इसके अलावा ग्लोबल जियोपॉलिटिकल स्थितियों से जुड़े जोखिम और पयार्वरण से जुड़ी मुश्किलों का असर भी भारत सहित तमाम उभरते बाजार पर देखने को मिल सकता है। इस बातचीत में अजय त्यागी ने आगे कहा कि घरेलू डिमांड की स्थिति काफी मजबूत बनी हुई है। लेकिन धीमी पड़ती ग्लोबल ग्रोथ के कारण इस पर कुछ प्रभाव पड़ सकता है। आनेवाली तिमाहियों में अमेरिका की मौद्रिक नीतियों में और कड़ाई आने की संभावना के चलते हमारे एक्सपोर्ट पर कुछ निगेटिव असर देखने को मिल सकता है। जिससे जीडीपी में गिरावट मुमकिन है। ब्याज दर पर आरबीआई की नीति से जुड़े सवाल का जवाब देते हुए अजय त्यागी ने कहा कि आरबीआई अपनी नीति दरों को 6.5 फीसदी के आसपास ला सकता है। हालांकि इसका अंदाजा लगाने के लिए हमने यूएस फेड के कदम और रुपये पर पड़ने वाले इसके प्रभाव पर नजर रखनी होगी। आईटी सेक्टर पर बात करते हुए अजय त्यागी ने कहा कि वर्तमान समय में टेक्नोलॉजी का महत्व बढ़ गया है। आईटी सेक्टर पर होने वाला खर्च कंपनियों के लिए प्रतिस्पर्धा में बने रहने के लिए अनिवार्य हो गया है। इसके अलावा आईटी सेक्टर में ऐसी तमाम कंपनियां है जो कॉर्पोरेट गर्वनेंस , मजबूत कैशफ्लो जनरेशन और अच्छी बैलेंसशीट के लिए जानी जाती हैं। पिछले कुछ तिमाहियों के दौरान भारी गिरावट के बाद अब आईटी शेयरों का वैल्यूएशन अच्छा नजर आ रहा है। बैंकिंग सेक्टर से सितंबर तिमाही में मजबूत प्रदर्शन की उम्मीद, Nifty bank को लगे पंख ऑटो सेक्टर पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि ऑटो सेक्टर पिछले 5 सालों से अंडरपरफॉर्मर रहा है। ऑटो सेक्टर एक साइक्लिकल सेक्टर है। ऐसे में 5 साल की गिरावट के बाद अब इसमें अच्छी तेजी की उम्मीद नजर आ रही है। मीडियम टर्म के नजरिए से देखें तो अगले कुछ सालों तक इस सेक्टर में पेंटअप डिमांड के कारण अच्छी ग्रोथ देखने को मिल सकती है। डिस्क्लेमर: मनीकंट्रोल.कॉम पर दिए गए विचार एक्सपर्ट के अपने निजी विचार होते हैं। वेबसाइट या मैनेजमेंट इसके लिए उत्तरदाई नहीं है। यूजर्स को मनी कंट्रोल की सलाह है कि कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट की सलाह लें।
from HindiMoneycontrol Top Headlines https://ift.tt/cpWvam3
via
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
-
The Doha accord would see thousands of American troops quit Afghanistan in a phased plan after more than 18 years in return for various secu...
-
A mysterious dissident group accused of breaking into the North Korea's embassy in Madrid last month said on Thursday it was temporarily...
-
The launch on Monday came two days North Korea's state media said leader Kim Jong Un supervised an artillery drill aimed at testing the ...
No comments:
Post a Comment