संसद (Parliament) का मानसून सत्र (Monsoon Session) इस बार काफी ज्यादा हंगामेदार हो रहा है। ऐसा इसलिए क्योंकि विपक्ष के हंगामे के बीच मंगलवार को 19 सांसदों को राज्यसभा (Rajya Sabha) से निलंबित कर दिया गया। इससे ठीक एक दिन पहले लोकसभा (Lok Sabha) अध्यक्ष ओम बिड़ला ने कांग्रेस (Congress) के चार सांसदों को निलंबित किया था। महंगाई को लेकर सरकार के खिलाफ विपक्ष के विरोध के बीच 19 राज्यसभा सांसदों को संसद के मानसून सत्र में शामिल होने के लिए एक हफ्ते के लिए रोक दिया गया है। इस कार्रवाई के साथ ही ये एक नया रिकॉर्ड भी बन गया, जब राज्यसभा में एक दिन में सबसे ज्यादा सांसदों को निलंबित किया गया है। तृणमूल कांग्रेस के सात सांसद उन लोगों में शामिल हैं, जिनके खिलाफ मंगलवार को कार्रवाई की गई है। निलंबित सांसदों पर अभद्र व्यवहार का आरोप लगाया गया है। सुष्मिता देव, मौसम नूर, डॉ शांतनु सेन, डोला सेन, शांतनु सेन, नदीमल हक, अभि रंजन विश्वास और शांता छेत्री तृणमूल कांग्रेस के सांसद हैं, जिन्हें निलंबित कर दिया गया है। 19 opposition Rajya Sabha MPs suspended for the remaining part of the week for storming well of the House and raising slogans https://t.co/cyLSmWIvd3 pic.twitter.com/wGvlQQLNF5 — ANI (@ANI) July 26, 2022 CPIM के ए.ए. रहीम, लेफ्ट के मोहम्मद अब्दुल्ला और DMK की कनिमोझी भी निलंबित सांसदों में शामिल हैं। DMK के दूसरे सांसद इस लिस्ट में शामिल हैं: एम. मोहम्मद अब्दुल्ला, कल्याणसुंदरम, एनआर एलंगो, और एम षणमुगम। 19 विपक्षी राज्यसभा सांसदों के निलंबन पर TMC के राज्यसभा सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने कहा, "मोदी और शाह ने लोकतंत्र को निलंबित कर दिया है ... आप सांसदों के बारे में क्या बात कर रहे हैं?" वहीं केंद्रीय मंत्री पीयुष गोयल ने कहा, "विपक्ष के सांसदों को राज्यसभा से निलंबित करने का फैसला भारी मन से लिया गया है। सभापति की अपीलों को उन्होंने बार-बार नजरअंदाज किया।" इस सब के बाद राज्यसभा की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई। Monsoon Session: कांग्रेस के चार सांसद पूरे मानसून सत्र के लिए लोकसभा से निलंबित,सदन में तख्तियां दिखाने और हंगामा करने का आरोप कई सालों में यह पहला मौका है जब इतने सारे सांसदों के खिलाफ कार्रवाई की गई है। जनवरी 2019 में, तत्कालीन लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने TDP और AIDMK के 45 सदस्यों को कई दिनों तक कार्यवाही बाधित करने के लिए निलंबित कर दिया था। जब से मानसून सत्र शुरू हुआ है, तब से ही अलग-अलग मुद्दों पर विपक्ष विरोध प्रदर्शन कर रहा है। इसमें खासतौर से महंगाई और जरूरी चीजों की बढ़ती कीमतों का मुद्दा प्रमुख है। हालांकि, मानसून सत्र की शुरुआत से पहले, एक एडवाइजरी जारी की गई थी। इसमें संसद परिसर में नारेबाजी, प्रदर्शन और तख्तियों के इस्तेमाल पर रोक लगा दी गई थी।
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