Tuesday, March 1, 2022

Eveready के बोर्ड में बदलाव के साथ नए वर्टिकल्स में उतारने की तैयारी: डाबर के वाइस चेयरमैन मोहित बर्मन

Eveready Industries: विलियमसन मैगोर ग्रुप की कंपनी एवरेडी इंडस्ट्रीज (Eveready Industries) को लेकर हो रही बदलाव की चर्चाओं से बाजार में खुशी का माहौल है। डाबर की प्रमोटर और कंपनी की सबसे बड़ी शेयरहोल्डर बर्मन (Burmans) फैमिली द्वारा एक ओपन ऑफर लाने के ऐलान से एक दिन पहले 28 फरवरी को बैटरी कंपनी की ड्राई सेल बैटरी कंपनी के स्टॉक में दमदार तेजी देखने को मिली। डाबर इंडिया के वाइस चेयरमैन मोहित बर्मन (Mohit Burman) ने कहा कि ब्रांड की अच्छी पहुंच है और उन्हें इसकी सेल्स में बढ़ोतरी की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि उनकी नए वर्टिकल में इस ब्रांड को उतारने की योजना है। बर्मन ने मनीकंट्रोल से बातचीत में ये बातें कहीं। बर्मन फैमिली लाई है ओपन ऑफर डाबर इंडिया के प्रमोटर बर्मन फैमिली ने 28 फरवरी को एक स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग में बताया कि उसने Eveready में 26 फीसदी हिस्सेदारी के अधिग्रहण के लिए एक ओपन ऑफर रखा है। वर्तमान में Eveready का नियत्रंण खेतान ग्रुप के पास है। बर्मन फैमिली ने 604.76 करोड़ रुपये में 26 फीसदी अतिरिक्त हिस्सेदारी खरीदने का प्रस्ताव किया है। बता दें कि लेंडर्स द्वारा कर्ज से दबी अन्य कंपनियों का बकाया वसूलने के लिए गिरवी पड़े खेतान की कंपनी के शेयर बेच दिए थे। सालाना रिपोर्ट के मुताबिक, वित्त वर्ष 21 तक एवरेडी पर 418 करोड़ रुपये का कर्ज था। बर्मन फैमिली ने Eveready में 26% हिस्सेदारी के अधिग्रहण के लिए रखा ओपन ऑफर, जानिए पूरी डिटेल यह ओपन ऑफर टेक ओवर नियमों के तहत अनिवार्य ओपन ऑफर है। बता दें कि बर्मन फैमिली ने 122.30 करोड़ रुपये के निवेश से Eveready Industries में 5.26 फीसदी की अतिरिक्त हिस्सेदारी खरीदने का प्रस्ताव किया था, जिससे Eveready Industries में उनकी कुल हिस्सेदारी 25.11 फीसदी हो गई। ओपन ऑफर का प्राइस 320 रुपये प्रति शेयर है। बर्मन की कंपनी को प्रोफेशनल तरीके से चलाने की योजना मोहित बर्मन ने कहा, “उनकी कंपनी को क्लीन करने और इसे प्रोफेशनल तरीके से चलाने की योजना है, जैसे हम दूसरे बिजनेस चलाते हैं। खुशकिस्मती से इस कंपनी पर ज्यादा कर्ज नहीं है।” तमाम मिड, स्मॉलकैप शेयर अपने 52 वीक हाई से 20-30% नीचे, मोतीलाल ओसवाल से जानिए कहां की जानी चाहिए खरीदारी एवरेडी (Eveready) पर बड़ा दांव लगाने की वजह पूछने पर बर्मन ने कहा कि हम ढाई साल से ज्यादा समय से शेयरहोल्डर हैं और हमें लगा कि कंपनी को अब सही दिशा की जरूरत है। उन्होंने कहा, “हमें लगा कि यह सही दिशा देने के लिए अच्छा समय है। अच्छी बात यह है कि ग्रुप के फाइनेंशियल इश्यूज के बावजूद इसकी फाइनेंशियल स्थिति अच्छी है। हमें कंपनी का फ्यूचर अच्छा नजर आता है।” सिर्फ कंपनी का कंट्रोल हाथ में लेना चाहते हैं क्या यह ओपन ऑफर एवरेडी बैटरीज का एक थर्ड पार्टी द्वारा होस्टाइल टेकओवर का प्रयास है, इस पर बर्मन ने कहा कि हमारा इरादा सिर्फ कंपनी के कंट्रोल को हाथ में लेने का है। उन्होंने कहा, “इस ब्रांड में खासी क्षमताएं हैं और हमें लगता है कि हम इसमें वैल्यू जोड़ने और इस बिजनेस को अगले लेवल पर ले जाने में सक्षम होंगे।” कंपनी के बोर्ड में बदलाव की संभावना पर बर्मन ने कहा कि ऑफर पूरा होने पर उनकी बोर्ड में बदलाव की योजना है। हम बोर्ड में तीन सीटों की मांग कर रहे हैं और हम चेयरमैन नियुक्त करेंगे। कब लाना जरूरी होता है ओपन ऑफर सेबी के नियमों के मुताबिक, अगर अधिग्रहण करने वाली कंपनी की हिस्सेदारी 25 फीसदी से ज्यादा हो सकती है तो ओपन ऑफर लेकर आना होता है। अगर इस तरह का कोई ओपन ऑफर ट्रिगर होता है तो अधिग्रहण करने वाली कंपनी को पब्लिक शेयर धारकों से कम से कम 26 फीसदी अतिरिक्त शेयर खरीदने का ऑफर रखना होता है और यह ऑफर लगभग बाजार भाव पर रखा जाता है।

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