Friday, September 2, 2022

दिल्ली LG वीके सक्सेना ने KVIC अध्यक्ष पद पर रहते हुए बेटी को दिलाया ठेका, AAP ने लगाए गंभीर आरोप

आम आदमी पार्टी (AAP) ने आरोप लगाया है कि दिल्ली एलजी (Delhi LG) वीके सक्सेना (VK Saxena) ने खादी और ग्रामोद्योग आयोग (KVIV) के अध्यक्ष के रूप में अपने पद का गलत इस्तेमाल किया है। AAP ने आरोप लगाया है कि वीके सक्सेना ने KVIC में अपने कार्यकाल के दौरान अपनी बेटी को मुंबई में खादी लाउंज के इंटीरियर डिजाइन का ठेका अवैध रूप से दिया था। पार्टी ने यह भी मांग की है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उन्हें "तुरंत" बर्खास्त करें। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए, AAP के राष्ट्रीय प्रवक्ता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने आरोप लगाया, वीके सक्सेना के खिलाफ उनकी बेटी को कथित रूप से कॉन्ट्रैक्ट देने के लिए कानूनी कार्रवाई शुरू करने की मांग की, जिससे कानून का उल्लंघन हुआ। संजय सिंह ने आरोप लगया, "LG वीके सक्सेना ने KVIC के अध्यक्ष के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान, अपने पद का दुरुपयोग किया और अपनी बेटी को मुंबई में एक खादी लाउंज के इंटीरियर डिजाइनिंग का ठेका दिया। ठेका देने में, उन्होंने KVIC अधिनियम 1961 के प्रावधानों का उल्लंघन किया।" संजय सिंह ने कहा कि पीएम मोदी को वीके सक्सेना को दिल्ली LG के पद से तुरंत बर्खास्त करना चाहिए और उनकी बेटी को अवैध रूप से ठेका देने के लिए उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए। मनीष सिसोदिया पर CBI रेड से गुजरात में 4% बढ़ा AAP का वोट शेयर, गिरफ्तार हुए तो 6% और बढ़ जाएगा: अरविंद केजरीवाल संजय सिंह ने कहा कि AAP अपने वरिष्ठ वकीलों के साथ विचार-विमर्श कर रही है और मामले में अदालत जाने की तैयारी कर रही है। उन्होंने कहा, "दिल्ली LG अपने कुकर्मों से बच नहीं सकते। हम जल्द ही इस मामले में अदालत का दरवाजा खटखटाएंगे, क्योंकि ठेका देने के सही नियमों का पालन नहीं किया गया था।" उन्होंने कहा, "KVIV अध्यक्ष अपने रिश्तेदार को ठेका कैसे दे सकते हैं?" AAP ने नोटबंदी के दौरान घोटाले का लगाया आरोप आम आदमी पार्टी (आप) के विधायक दुरेगेश पाठक ने पहले आरोप लगाया था कि वीके सक्सेना ने अपने कर्मचारियों पर 1,400 करोड़ रुपए के पुराने नोट बदलने के लिए दबाव डाला था। AAP विधायक ने आरोप लगाया है कि वीके सक्सेना ने 2016 में अपने कर्मचारियों से पुराने नोट बदलवाने के लिए कहा था, जब वह KVIC के अध्यक्ष के रूप में काम कर रहे थे। दुर्गेश पाठक ने कहा, "जब वह KVIC के अध्यक्ष थे, तब नोटबंदी हुई थी और वहां काम करने वाले एक कैशियर ने लिखित में दिया था कि उन्हें नोट बदलने के लिए मजबूर किया गया था। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि उन्हें निलंबित कर दिया गया। लेकिन हम इसकी जांच चाहते हैं। एक समाचार रिपोर्ट और उस कर्मचारियों का बयान भी है।"

from HindiMoneycontrol Top Headlines https://ift.tt/nepELtD
via

No comments:

Post a Comment