Sunday, June 5, 2022

'क्या सिसोदिया को लगता है केजरीवाल भ्रष्ट हैं?' 'PPE किट घोटाले' के आरोप पर बोले असम के CM हिमंता बिस्व सरमा, जानें पूरा मामला

आम आदमी पार्टी (AAP) नेता मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने शनिवार को आरोप लगाया कि देश 2020 में जब Covid-19 महामारी से जूझ रहा था, तब असम (Assam) सरकार ने उस समय स्वास्थ्य मंत्री रहे हिमंत बिस्व सरमा (Himanta Biswa Sarma) की पत्नी की कंपनी और बेटे के बिजनेस पार्टनर्स को "बहुत ज्यादा कीमक" पर PPE किट (PPE Kit) की सप्लाई करने के लिए ठेके दिए थे। भारतीय जनता पार्टी (BJP) नेता सरमा ने हालांकि इन आरोपों को खारिज किया है। वर्तमान में असम राज्य के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्व सरमा ने इन आरोपों के बाद दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मुकदमा दायर करने की धमकी दी है। सिसोदिया ने नई दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि दो वेबसाइट ने इस खबर पर काम किया और दो दिन पहले इसे पब्लिश किया। सरमा ने सिलसिलेवार ट्वीट में कहा कि असम के पास तब शायद ही कोई पीपीई किट थी। उन्होंने कहा, "मेरी पत्नी ने आगे आने का साहस दिखाया और लगभग 1500 पीपीई किट लोगों की जान बचाने के लिए सरकार को दान कर दी। उन्होंने एक पैसा भी नहीं लिया।" मुख्यमंत्री ने JCB इंडस्ट्रीज की तरफ से Covid-19 के दौरान ‘कॉर्पोरेट सामाजिक जिम्मेदारी’ के रूप में पीपीई किट देने के लिए राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (HHM) के तत्कालीन डायरेक्टर डॉ. लक्ष्मणन से मिला प्रशंसा पत्र भी पोस्ट किया। जेसीबी इंडस्ट्रीज में सरमा की पत्नी रिंकी सरमा भुइयां एक पार्टनर हैं। 'मैं आपसे गुवाहाटी में निपट लूंगा' सरमा ने कहा, "उपदेश देना बंद करो। मैं आपसे गुवाहाटी में निपट लूंगा, जब आप (सिसोदिया) आपराधिक मानहानि के मुकदमे का सामना करेंगे।" सिसोदिया ने एक ट्वीट किया, "माननीय मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा जी! यह रहा आपकी पत्नी की जेसीबी इंडस्ट्रीज के नाम 990 रुपये प्रति किट के हिसाब से 5000 किट खरीदने का कॉन्ट्रेक्ट। बताइए क्या यह कागज झूठा है? क्या स्वास्थ्य मंत्री रहते अपनी पत्नी की कंपनी को बिना टेंडर जारी किए खरीद का ऑर्डर देना भ्रष्टाचार नहीं है?" सिसोदिया ने कहा कि असम सरकार ने दूसरी कंपनियों से 600 रुपये प्रति किट के हिसाब से PPE किट खरीदी। उन्होंने कहा कि सरमा ने "कोविड-19 आपात स्थिति का लाभ उठाते हुए" अपनी पत्नी की कंपनी और बेटे के बिजनेस पार्टनर्स को एक पीपीई किट 990 रुपये के हिसाब से तत्काल सप्लाई करने के आदेश दिए। सिसोदिया ने क्या लगाए आरोप? उन्होंने कहा, "यह असम के मुख्यमंत्री और उनके करीबी सहयोगियों की तरफ से किया गया एक बड़ा घोटाला है। यह भ्रष्टाचार का मामला है और ED सत्येंद्र जैन के पीछे लगी है, जो दिल्ली के लोगों को गुणवत्तापूर्ण हेल्थ केयर देने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं।" उन्होंने आरोप लगाया, "सरमा के बेटे के बिजनेस पार्टनर्स को भी 990 रुपये प्रति किट की दर से पीपीई किट की सप्लाई करने का आकर्षक ऑर्डर मिला। सरमा की पत्नी के एक बिजनेस पार्टनर की कंपनी एजाइल एसोसिएट्स को 2,205 रुपये प्रति किट के हिसाब से 10,000 पीपीई किट देने का ऑर्डर मिला।" सिसोदिया ने आरोप लगाया, "ऑर्डर की अधूरी सप्लाई के बावजूद, सरमा परिवार के इन करीबी सहयोगियों को 1,680 रुपये प्रति किट की दर से ज्यादा पीपीई किट की सप्लाई करने का ऑर्डर मिला।” AAP नेता ने पूछा कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) सरकार वाले राज्य के एक मुख्यमंत्री के कथित भ्रष्टाचार पर भाजपा के सदस्य चुप क्यों हैं? सिसोदिया ने कहा, "वे भ्रष्टाचार की बात करते हैं और विपक्षी दलों के सदस्यों के खिलाफ निराधार आरोप लगाते हैं। मैं भ्रष्टाचार के बारे में उनकी समझ के बारे में जानना चाहता हूं। उनसे पूछना चाहता हूं कि क्या वे इसे (असम मामला) भ्रष्टाचार मानते हैं या नहीं।" उन्होंने कहा कि प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन को भ्रष्टाचार के 'फर्जी' आरोपों में गिरफ्तार किया और केंद्र ने शुक्रवार को अदालत से कहा कि वह ‘एक आरोपी नहीं’ हैं। गौरतलब है कि ED ने 30 मई को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में जैन को कई घंटे की पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया था। हिमंता का सिसोदिया पर पलाटवार सिसोदिया पर पलटवार करते हुए असम के मुख्यमंत्री सरमा ने ट्वीट किया, "हालांकि NHM ने आदेश जारी किया, कंपनी ने कोई बिल नहीं दिया और किट सरकार को उपहार में दी गई। एक पैसे का लेन-देन नहीं हुआ, भ्रष्टाचार कहां है?" उन्होंने लिखा, "तब किट की भारी कमी के कारण, (दिल्ली सरकार समेत) हर सरकार ने पीपीई किट के लिए टेंडर नहीं निकाली और सीधी खरीद के लिए चली गई। सभी तथ्यों को रखने का साहस रखें। दस्तावेज का आधा हिस्सा न दिखाएं, सभी तथ्यों को रखने का साहस करें।" सरमा ने सिसोदिया पर उस समय दिल्ली में असम के लोगों की मदद नहीं करने का भी आरोप लगाया, जब कोविड महामारी चरम पर थी। उन्होंने कहा, "मैं एक उदाहरण नहीं भूल सकता, जब मुझे दिल्ली के मुर्दाघर से असम के एक कोविड पीड़ित का शव पाने के लिए सात दिनों तक इंतजार करना पड़ा .... कई बार फोन किया गया, लेकिन कोई जवाब नहीं दिया गया।" इससे पहले दिन में असम सरकार के प्रवक्ता पीजूष हजारिका ने उन आरोपों का खंडन किया कि मुख्यमंत्री सरमा का परिवार महामारी के दौरान पीपीई किट की सप्लाई में कथित भ्रष्टाचार में शामिल था। पैगंबर मुहम्मद के खिलाफ बयान देने के बाद BJP ने प्रवक्ता नूपुर शर्मा और मीडिया प्रभारी नवीन जिंदल को किया निलंबित हजारिका ने कहा कि PPE किट की सप्लाई में कोई घोटाला नहीं हुआ है और मुख्यमंत्री के परिवार का कोई भी सदस्य Covid-19 महामारी से जुड़ी किसी भी सामग्री की सप्लाई में शामिल नहीं था। राज्य के जल संसाधन और सूचना एवं जनसंपर्क मंत्री हजारिका ने गुवाहाटी में मीडिया से कहा, "आरोप झूठे, काल्पनिक, दुर्भावनापूर्ण हैं और इसे निहित स्वार्थों वाले एक निश्चित वर्ग की करतूत कहा जा सकता है।" उस समय असम के स्वास्थ्य राज्य मंत्री रहे हजारिका ने पूछा, "झूठे और निराधार आरोप लगाने के बजाय सबूत के साथ दोनों मीडिया संस्थान (जिन्होंने दावा किया है) अदालत क्यों नहीं जा रहे हैं?"

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